जगन्नाथ पूरी रथयात्रा : जगन्नाथ मंदिर का रहस्य, मान्यताए , इतिहास , रथयात्रा , रीती-रिवाज
हिंदूओ के चार पवित्र धाम - बद्रीनाथ, द्वारका , रामेश्वर और जगन्नाथ पुरी जिनमे आदिगुरु शंकराचार्य ने चार मठो की स्थापना की थी। कहा जाता हे , अगर आप किसी कारणवश इन चारो धामों की यात्रा नहीं कर सकते और जगन्नाथ पुरी में भगवान जग्गनाथ जी के दर्शन करले तो आप को चारधाम की यात्रा का पुण्य मिलता हे। जगन्नाथ पुरी , जो की अब पूरी के नाम से जाना जाता हे , उड़ीसा का एक तटीय नगर हे। पुरी में निकलने वाली भगवान जगन्नाथ जी की रथयात्रा पुरे विश्वभर में विख्यात हे, जहा होती हे पुण्य की वर्षा। उड़ीसा के पूरी में भगवान जगन्नाथ अपने बड़े भाई बलभद्र या बलराम और छोटी बहन सुभद्रा और जीजा सुदर्शन यानि अर्जुन के साथ साक्षात बीराजमान हे। यह मंदिर की कुछ बाते बहुत ही दिलचस्प हे। जैसे की इस मंदिर के शिखर पर एक सुदर्शन चक्र बना हुआ हे , जिसे कही से भी देखो उसका मुँह आपको अपनी तरफ ही दिखाई देखा और दिन के किसी भी प्रहर में मंदिर के शिखर की छाया नहीं बनती।मंदिर में चाहे कितने भी दर्शनार्थी आये पर मंदिर के भोजनालय में बनने वाला प्रसाद कभी ख़तम नहीं होता , पर जब मंदिर के पट बंध होते